डायबिटीज़ एक ऐसी समस्या है जो पेंक्रियाज़ द्वारा अपर्याप्त इंसुलिन उत्पादन या शरीर द्वारा इंसुलिन का उपयोग नहीं कर पाने पर होती है। इंसुलिन हार्मोन हमारे शरीर में ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करता। तो अगर आप डायबिटीज़ से परेशान हैं, तो आपने भी HbA1c टेस्ट के बारे में सुना होगा। HbA1c टेस्ट क्या है, HbA1c टेस्ट के उपयोग और एक डायबिटीज़ रोगी के लिए यह महत्वपूर्ण क्यों है? इस बारे में जानने के लिए इस ब्लॉग को ज़रूर पढ़ें।
HbA1c टेस्ट क्या है और HbA1c टेस्ट के उपयोग क्या है?
HbA1c टेस्ट को A1c, ग्लाइकेटेड हीमोग्लोबिन या ग्लाइकोहीमोग्लोबिन टेस्ट भी कहा जा सकता है। लाल रक्त कोशिकाओं (रेड ब्लड सेल्स) में हीमोग्लोबिन शामिल होता है, जो कोशिकाओं को ऑक्सीजन पहुंचाने का काम करता है। आपकी रक्त कोशिकाओं ( ब्लड सेल्स ) में, ग्लूकोज हीमोग्लोबिन से जुड़ता है, और HbA1c टेस्ट इस ग्लूकोज-हीमोग्लोबिन संबंध पर ही आधारित होता है।
HbA1c टेस्ट हीमोग्लोबिन की मात्रा का विश्लेषण करता है जिससे ग्लूकोज जुड़ा होता है और पिछले तीन महीनों के लिए औसत ब्लड ग्लूकोज रीडिंग प्रदान करता है। यह प्रीडायबिटीज और डायबिटीज की पहचान करने के लिए सबसे ज्यादा इस्तेमाल किए जाने वाले टेस्ट में से एक है, और यह आपकी डायबिटीज़ के मैनेजमेंट में आपकी और आपकी मेडिकल टीम की मदद करने के लिए सबसे पहले टेस्ट के तौर पर काम करता है।
यह भी पढ़ें: डायबिटीज कंट्रोल करने का आसान तरीका – अब घर पे कराएं hba1c टेस्ट और करें डायबिटीज कंट्रोल
प्रक्रिया
HbA1c टेस्ट के लिए खून का सैंपल लेने के लिए, आपकी मेडिकल टीम के एक सदस्य को या तो आपकी उंगली पर लैंसेट की मदद से या आपकी बांह की नस से आपका ब्लड सैंपल लेना चाहिए। अगर सैंपल आपकी नस से लिया जाता है तो ब्लड सैंपल जाँच के लिए एक मेडिकल लैब में जमा किया जाता है, और वहीं से आप को आपके टेस्ट की रिपोर्ट मिलती है।
यह भी पढ़ें: डायबिटीज के लिए कौनसे योग करें और कैसे करें?
औसत आयु-संबंधी HbA1c स्तर क्या है?
HbA1c टेस्ट के उपयोग 3 महीनों के एवरेज ब्लड शुगर लेवल का पता लगाने के लिए किया जाता है। अगर A1c 5.7% से कम है, तो आपका ब्लड शुगर लेवल नॉर्मल है और अगर 5.7% से 6.5% के बीच है तो आप प्रीडायबिटिक हैं और 6.5% से ज्यादा है तो आप डायबिटीज़ के पेशेंट हैं ।
20 से 39 की उम्र के वयस्कों में HbA1c की ऊपरी संदर्भ सीमा 6.0% (42.1 mmol/mol) है, 40 से 59 की उम्र के लोगों में 6.1% (43.2 mmol/mol) और 60 से ज्यादा उम्र के लोगों में ये लेवल 6.5% (47.5 mmol/mol) तक होना चाहिए।
यह भी पढ़ें: गोजी बेरी – जानिए इस सुपर फूड के अदभुत लाभ
HbA1c टेस्ट के उपयोग और फायदे
HbA1c टेस्ट के उपयोग और फायदे बहुत सारे हैं, जिनके बारे में नीचे बताया जा रहा है:
- यह भोजन या व्यायाम से प्रभावित नहीं होता है, आप इसे किसी भी समय कर सकते हैं।
- सिंगल वैल्यू होना सुविधाजनक है जिसका उपयोग डायबिटीज़ वाले लोगों में मेटाबोलिक कण्ट्रोल को बताने के लिए किया जा सकता है।
- यह रोगी के शुरुवाती जांच और फॉलो अप को आसान बनाता है।
यह भी पढ़ें: जानिए सुबह एक्सरसाइज करने के फायदे और उठाइए इसका लाभ
किसी को HbA1c टेस्ट क्यों करवाना चाहिए?
HbA1c टेस्ट के उपयोग से प्रीडायबिटीज का पता लगाया जा सकता है और यह टेस्ट आपको टाइप 2 डायबिटीज को रोकने में मदद करने के लिए आप की जीवनशैली में बदलाव की भी सलाह देता है ।
अगर आप को टाइप 2 डायबिटीज़ है, तो ऐसे में HbA1c टेस्ट के उपयोग से आप को अपनी डायबिटीज़ को मैनेज करने में और उस का एक सही इलाज करने में मदद मिलेगी ।
यह भी पढ़ें: ग्वार फली के फायदे जो करेंगे डायबिटीज को नियंत्रित करने में मदद
आपको कितनी बार टेस्ट करने की ज़रुरत होती है?
अक्सर लोगों के मन में यह सवाल होता है कि हम कितनी बार टेस्ट करवा सकते हैं, तो इसका जवाब नीचे दिया गया है:
- यह इस बात पर निर्भर करता है कि आप को किस तरह की डायबिटीज़ है ।
- आप की क्षमता के अनुसार कि आप अपनी डायबिटीज़ को कितना कंट्रोल करके रखते हैं।
- आप की डायबिटीज़ केयर प्रक्रिया के अनुसार बताये गए अंतराल पर।
अब बात की जाये की यह कितनी बार किया जा सकता है या कितने समय के अंतराल से करवाना चाहिए, तो हर तीन महीने में, डायबिटीज़ रोगियों का HbA1c टेस्ट किया जाना चाहिए ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि उनका ब्लड शुगर लेवल नियंत्रण में है। अगर आपकी डायबिटीज़ अच्छी तरह से नियंत्रित है, तो आपका शुगर टेस्ट करने का अन्तराल थोड़ा बढ़ा सकते हैं।
यह भी पढ़ें: चेयर योगा – कुर्सी पर बैठ कर करें आसानी से योग और पाए कई स्वास्थ्य लाभ
हीमोग्लोबिन A1c (HbA1c) को कम करने के तरीके
अगर आप का वजन ज्यादा हैं, तो वजन कम करना आपके ब्लड शुगर और HbA1c को कम करने के लिए सबसे बेहतर उपायों में से एक है।
अपने कार्ब सेवन को नियंत्रित रखने के लिए ज्यादा प्रोटीन, बिना-स्टार्च वाली सब्जियां और कम मीठे फल खाएं।
अगर आप धूम्रपान करते है, तो धूम्रपान बंद करके हीमोग्लोबिन A1c के स्तर को कम किया जा सकता है ।
ग्लाइकोसिलेटेड हीमोग्लोबिन के बढ़े हुए स्तर को कम करने के लिए व्यायाम एक अच्छा विकल्प माना जाता है, यह वजन घटाने और ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में भी मदद करता है, जिससे इन्सुलिन की संवेदनशीलता में सुधार होता है।
अपने ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रण में बनाए रखने के लिए एक स्वस्थ जीवनशैली अपनाएं।
धूप में रहने से विटामिन डी का स्तर बढ़ जाता है और विटामिन डी भी HbA1c के स्तर को कम करता है।
यह भी पढ़ें: BeatO फ़ूड लैब प्रेजेंट्स मास्टर शेफ फाइनलिस्ट मीरवान विनायक की “तोरी पराठा रेसिपी”
अपने तनाव और मानसिक स्वास्थ्य को अच्छी तरह से मैनेज करें
तनाव का ब्लड शुगर और HbA1c के साथ कई शारीरिक गतिविधियों पर बुरा प्रभाव पड़ता है। डायबिटीज़ रोगियों में मूड स्विंग होने की समस्याएं अक्सर होती हैं और यह खराब ब्लड शुगर और इससे जुड़ी समस्याओं से सीधे तौर पर जुड़ा होता हैं।
यह भी पढ़ें: डायबिटीज के लिए कौनसे योग करें और कैसे करें?
BeatO के मुख्य क्लीनिकल अधिकारी, डॉ. नवनीत अग्रवाल के साथ बेहतरीन डायबिटीज केयर प्राप्त करें। डायबिटीज में उनके 25+ वर्ष के अनुभव के साथ सही मार्गदर्शन प्राप्त करें। इसके आलावा यदि आप ग्लूकोमीटर ऑनलाइन खरीदना चाह रहे हैं या ऑनलाइन हेल्थ कोच बुक करना चाहते हैं तो यहां क्लिक करें। Beatoapp घर बैठे आपकी मदद करेगा।
डिस्क्लेमर: इस लेख में बताई गयी जानकारी सामान्य और सार्वजनिक स्रोतों से ली गई है। यह किसी भी तरह से चिकित्सा सुझाव या सलाह नहीं है। अधिक और विस्तृत जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने डॉक्टर से परामर्श लें। BeatoApp इस जानकारी के लिए जिम्मेदारी का दावा नहीं करता है।